Ghayas Ahmad Gaddi ग़यास अहमद गद्दी
उर्दू के चर्चित कथाकार ग़यास अहमद गद्दी (17 फरवरी 1928 - 25 जनवरी 1986) का जन्म
झरिया कोयला नगरी झरिया में हुआ था। उनकी प्रारंभिक शिक्षा घर में ही मौलवी से हुई थी।
तीन दशक से अधिक तक उन्होंने उर्दू में कई कहानियां लिखी। देश-विदेश के विभिन्न विश्व विद्यालयों
में उनके द्वारा लिखी गई कहानियां आज भी पढ़ाई जा रही हैं।
परिंदा पकड़ने वाली गाड़ी, तज दो तज दो, सारा दिन धूप, बाबा लोग, ज्वार भाटा आज भी प्रसिद्ध है। दीमक पर
दूरदर्शन दिल्ली के लिए एक टेली फिल्म का निर्माण किया गया था। उनके पोता नवाज अहमद गद्दी ने बताया कि
उनकी कई कहानियों का अनुवाद अंग्रेजी के अलावा अन्य भारतीय भाषाओं में भी हुआ है। उर्दू कथा साहित्य में
उनका नाम जोगिंदर पाल, कलाम हैदर, कमर हसन, इंतजार हुसैन, खालिदा असगर, गुलाम अब्बास, जीलानी बानो,
राजेंद्र सिंह बेदी जैसे नाम चिन्ह कथाकारों के साथ लिया जाता है।