Razia Sajjad Zaheer
रज़िया सज्जाद ज़हीर
रजिया सज्जाद जहीर उर्दू की कहानी लेखिका हैं। इनका जन्म १५ फरवरी, सन् १९१७ को राजस्थान के अजमेर शहर में हुआ था। रजिया ने आरम्भिक शिक्षा से लेकर कला स्नातक तक की शिक्षा घर पर रहकर ही प्राप्त की। इसके बाद उनका विवाह सज्जाद ज़हीर नामक साम्यवादी (कम्यूनिस्ट) से हुआ। विवाह के बाद उन्होंने इलाहाबाद से उर्दू में स्नातकोत्तर की परीक्षा उत्तीर्ण की। सन १९४७ में वे अजमेर से लखनऊ आईं और वहाँ करामत हुसैन गर्ल्स कॉलेज में पढाने लगीं। सन् १९६५ में उनकी नियुक्ति सोवियत सूचना विभाग में हुई। उनका निधन १८ दिसबर, १९७९ को हुआ।
आधुनिक उर्दू कथा-साहित्य में रजिया ने महत्वपूर्ण स्थान बनाया है। ये कहानी और उपन्यास दोनों ही लिखा करती थीं और साथ ही उर्दू में बाल-साहित्य की रचना भी की है। मौलिक सर्जन के साथ-साथ उन्होंने कई अन्य भाषाओं से उर्दू में कुछ पुस्तकों के अनुवाद भी किए हैं। रजिया की भाषा सहज, सरल होने के साथ साथ ही मुहावरेदार भी हुआ करती थी। उनकी कुछ कहानियाँ देवनागरी में भी लिप्यंतरित हो चुकी हैं। रजिया सज्जाद जहीर की कहानियो में सामाजिक यथार्थ और मानवीय गुणों का सहज सामंजस्य मिलता था और यही उनकी कहानियों की विशेषता है। इसके साथ ही उनमें
सामाजिक सद्भाव के साथ ही धार्मिक सहिष्णुता भी हुआ करती थी। इससे हिन्दू-मुस्लिम सद्भाव व सम्बन्ध को बढावा मिलता है। आधुनिक संदर्भो में बदलते हुए पारिवारिक मूल्यों को उभारने का सफल प्रयास मिलता है। उनकी कहानियों की मात्रा सहज सरल होने के साथ ही मुहावरेदार हुआ करती थी।
प्रमुख रचनाएँ : जर्द गुलाब (उर्दू कहानी संग्रह),
प्रमुख कहानियां : मेहमान रहमत या जहमत, ज़र्द गुलाब, सुल्तान सलाहउद्दीन बादशाह
सम्मान : सोवियत लैंड नेहरू पुरस्कार, उर्दू अकादमी, उत्तर प्रदेश, अखिल भारतीय लेखिका संघ अवार्ड, मुसंनाफीन अवार्ड
रज़िया सज्जाद ज़हीर : हिन्दी कहानियाँ
Razia Sajjad Zaheer : Stories in Hindi